पथ्यादि क्वाथ (Pathyadi Kwath) विविध
प्रकार के आम (अपक्व अन्न रस जो एक प्रकार का विष बन जाता है और शरीर में रोग पैदा करता है) और मलावरोधसह शिरशूल (कब्ज के कारण होनेवाला शिर दर्द) और नेत्रगत शूल (आंखों में दर्द) और अर्धावभेदक (Migraine)को तत्काल दूर करता है। यह क्वाथ दीपन, पाचन, शूलहर और ज्वरध्न (बुखार का नाश करनेवाला) है। इसके सेवनसे 3-4
दिनमे ही उपद्रवोंसह ज्वर (बुखार) निवृत हो जाता है। इसका उपयोग सफलतापूर्वक सैकड़ो रोगियों
पर किया गया है। इसके अतिरिक्त अर्धावभेदक, सूर्यावर्त आदि शिरो रोगोपर भी यह अच्छा
लाभ पहुंचाता है।
यह पथ्यादि क्वाथ (Pathyadi Kwath) जयपुर स्टेट और बीकानेर स्टेट में विषम
ज्वर (Malaria) और जीर्ण ज्वर (Chronic Fever) पर विशेष प्रयुक्त होता है। पित्त प्रकृति वालों को तथा
सगर्भा स्त्रियों को अनेक बार क्वीनाइन आदि तीव्र औषधियों का सेवन नहीं कराया जाता, उनको सौम्य औषधि दीजाती है। एवं क्वीनाइन देने से जिनको
बुखार विशेष प्रकुपित हुआ हो, नाक से रक्तस्त्राव, मूत्र का अवरोध और बधिरता आदि उपद्रव उपस्थित हुए हों, उनको यह पथ्यादि क्वाथ आशीर्वाद के समान उपकारक होता
है। इसके सेवन से 3-4 दिन में ही उपद्रवोंसह ज्वर (बुखार) निवृत हों जाता है।
मात्रा: दो दो
तोलेका क्वाथकर 6-6 माशे गुड मिलाकर दिनमें 2 या 3 बार दें। 5 से 15 ml तीन गुना पानी मिलाकर भोजन के बाद।
सूचना: इस पथ्यादि क्वाथ का स्वाद अत्यंत कड़ुवा होता है अतः जो लोग कड़वी दवा नहीं पी सकते, वह न खरीदें।
सूचना: इस पथ्यादि क्वाथ का स्वाद अत्यंत कड़ुवा होता है अतः जो लोग कड़वी दवा नहीं पी सकते, वह न खरीदें।
पथ्यादि क्वाथ घटक
द्रव्य और निर्माण विधान (Pathyadi Kwath Ingredients): हरड़, बहेड़ा,
आंवला, हल्दी,
गिलोय, चिरायता और नीम की अंतर छाल इन 7 द्रव्यों
को समभाग मिलाकर जौ कूट चूर्ण करें।
Ref: योगरत्नाकर
Pathyadi Kwath is useful in migraine and head ache due to any reason like constipation etc. It is also useful in chronic fever and malaria.
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Good infermation
जवाब देंहटाएंTinnitus ki koi davai hai
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